जिद्दी रिपोर्टर अपडेट..... पिछोर-खण्ड स्तरीय बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ बाल मेला कार्यक्रम का आयोजन जनपद पंचायत सभागार में महिला एबं बाल विकास...
जिद्दी रिपोर्टर अपडेट.....
पिछोर-खण्ड स्तरीय बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ बाल मेला कार्यक्रम का आयोजन जनपद पंचायत सभागार में महिला एबं बाल विकास विभाग के अंतर्गत छोटे छोटे छात्रों द्वारा चित्रकला,मिट्टी के खिलौने बनाने की प्रतियोगिता का आयोजन किया गया।कार्यक्रम में मुख्य अतिथि एस डी एम श्री उदय सिंह सिकरवार विशिष्ट अतिथि विधायक प्रतिनिधि श्री सुनील शर्मा उपस्थित रहे।कार्यक्रम के दौरान सी डी पी ओ अरविंद तिवारी ने कार्यक्रम के उद्देश्य को बताया उन्होंने कहा इसके माध्यम से बच्चों में नई ऊर्जा का संचार करना है।एबं बाल विवाह जैसी कुरुतियों के बारे में लोगो को जागृत करना है। एस डी एम श्री सिकरवार ने उपस्थित सभी को बाल दिवस की बधाई देते हुए कहा कि यहाँ पर जो प्रतियोगिताएं आयोजित कराई गई।उसमे न कोई जीता है न हारा है।यहाँ स्वस्थ्य प्रतियोगिताओ का आयोजन किया गया है।सारे बच्चे जीत कर जाएंगे कुछ सीख कर जाएंगे इस तरह की गतिविधियां केंद्रों में भी संचालित होना चाहिए।साथ ही बाल विवाह पर प्रकाश डालते हुए कहा कि यह एक सामाजिक अभिशाप है।बिबाह दो परिवारों के विचारो का मिलन है।परन्तु 18 बर्ष से कम आयु के बच्चों की शादी कर देते है यह एक अपराध है।कम उम्र की बच्ची मानसिक रूप से विकसित नही हो पाती हैं विवाह कर उस पर बोझ न डाले।समाज को बाल विवाह जैसी कुरूतियो से दूर रहने की सलाह दी।कार्यक्रम के अंत मे प्रतिभागी बच्चों को पुरुस्कार बितरण किया गया।
पिछोर-खण्ड स्तरीय बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ बाल मेला कार्यक्रम का आयोजन जनपद पंचायत सभागार में महिला एबं बाल विकास विभाग के अंतर्गत छोटे छोटे छात्रों द्वारा चित्रकला,मिट्टी के खिलौने बनाने की प्रतियोगिता का आयोजन किया गया।कार्यक्रम में मुख्य अतिथि एस डी एम श्री उदय सिंह सिकरवार विशिष्ट अतिथि विधायक प्रतिनिधि श्री सुनील शर्मा उपस्थित रहे।कार्यक्रम के दौरान सी डी पी ओ अरविंद तिवारी ने कार्यक्रम के उद्देश्य को बताया उन्होंने कहा इसके माध्यम से बच्चों में नई ऊर्जा का संचार करना है।एबं बाल विवाह जैसी कुरुतियों के बारे में लोगो को जागृत करना है। एस डी एम श्री सिकरवार ने उपस्थित सभी को बाल दिवस की बधाई देते हुए कहा कि यहाँ पर जो प्रतियोगिताएं आयोजित कराई गई।उसमे न कोई जीता है न हारा है।यहाँ स्वस्थ्य प्रतियोगिताओ का आयोजन किया गया है।सारे बच्चे जीत कर जाएंगे कुछ सीख कर जाएंगे इस तरह की गतिविधियां केंद्रों में भी संचालित होना चाहिए।साथ ही बाल विवाह पर प्रकाश डालते हुए कहा कि यह एक सामाजिक अभिशाप है।बिबाह दो परिवारों के विचारो का मिलन है।परन्तु 18 बर्ष से कम आयु के बच्चों की शादी कर देते है यह एक अपराध है।कम उम्र की बच्ची मानसिक रूप से विकसित नही हो पाती हैं विवाह कर उस पर बोझ न डाले।समाज को बाल विवाह जैसी कुरूतियो से दूर रहने की सलाह दी।कार्यक्रम के अंत मे प्रतिभागी बच्चों को पुरुस्कार बितरण किया गया।
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