शिवपुरी। चुनाव आयोग वह हैं जिसके आदेश नही ईशारे पर बडे से बडे सरकारी फैसले हो जाते हैं,लेकिन चुनाव आयोग की लापरवाही या जिले में बैठे अधिकारी की उदासीनता के कारण जिले में छात्रो को मुसीबत का सामना कर पडा रहा हैं। 

मामला चार कराडे की लागत से बना छत्री रोड पर बने आदिमजाति के छात्रो से जुडा हैं। चुनाव आयोगी की लापरवाही ओर जिले में बैठे अधिकारियो के समय पर निर्णय न लेने के कारण इस छात्रावास के छात्रो को छात्रावास से बाहर रहने को विवश होना पडा रहा हैं।  

बताया जा रहा हैं कि लोकसभा और विधानसभा चुनाव में पुलिस फोर्स ने एक माह रुककर 2.50 लाख की बिजली जला दी। अब बिल भरने काे न प्रशासन तैयार है और न ही विभाग। इसलिए 4 करोड़ की लागत से बना आदिम जाति कल्याण विभाग के छात्रावास में ताले पड़ गए हैं। यहां नया कनेक्शन देने बिजली कंपनी ने यह कहते हुए हाथ खड़े कर दिए हैं कि पहले पुराना हिसाब तो चुकता करो, फिर नया कनेक्शन देंगे।

इधर, विभागीय अधिकारी कहते हैं कि हम क्या करें, लाइट हमने नहीं जलाई, चुनाव के लिए आई पुलिस फोर्स ने जलाई। वरिष्ठ अधिकारियों को इसकी जानकारी है और यह मामला जल्द सुलझाने का बयान आ रहा हैं। इधर, छात्रावास में बिजली कनेक्शन के विवाद के बीच 120 छात्राें काे किराए के मकानाें में रहने काे मजबूर हाेना पड़ रहा है।

*सुनील शर्मा पत्रकार*